ये नजारा है सोझी घाट का.. 1840 के दौरान सोझी घाट पर कोलकाता और पटना से व्यापारी माल लेकर आते थे. सोझी घाट में हमेशा नावों की भीड़ होती थी. उस वक्त कोई घाट नहीं था. उस वक्त भी शायद सोझी घाट के सामने टापू बना करता होगा जहां बैठकर इस पेंटिंग को बनाया गया है. सोझी घाट के पीछे नौलखा बिल्डिंग नज़र आ रहा है. जिसमें आजकल एनसीसी का आफिस है और सेंट जेवियर्स स्कूल है. ये याद रहे कि मुंगेर इस वक्त पूरे बंगाल की राजधानी हुआ करता था.
Wednesday, August 19, 2009
1840 में मुंगेर का सोझी घाट
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